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Tuesday, 16 April 2019
II माला चयन II तन्त्र सिद्धि के लिए शमशान में लागे हुए धतूरे की माला सर्वश्रेष्ठ होती है I सभी सिद्धियों के लिए, सभी मंत्रों के लिए रुद्राक्ष की माला प्रयोग कर सकते हैं I महालक्ष्मी की प्राप्ति के लिए कमलगट्टे की माला प्रयोग करनी चाहिए I पाप नाश के लिए कुशमूल की माला से जाप करना चाहिए I भक्ति की प्राप्ति के लिए या मोक्ष प्राप्ति के लिए तुलसी की माला प्रयोग करनी चाहिए I वशीकरण से संबंधित कार्यों में मूंगे की माला से जाप करना चाहिए I पुत्र प्राप्ति के लिए पुत्रजीवा की माला से जाप करें I नौकरी की प्राप्ति के लिए लाल हकीक की माला से जाप करें I विद्या प्राप्ति के लिए स्फटिक माला से मन्त्र जपें I माला जाप करते वक्त सावधानियां माला के मनके एक जैसे होँ, छोटे- बड़े नहीं I माला में साधारणतया 108 मनके एक सुमेरु मिलाकर कुल 109 दानें होने चाहियें I माला का धागा शुरू से अंत तक एक ही होना चाहिए बीच में गांठ नहीं आनी चाहिए I सुमेरु को बाँधनें के लिए ढाई फेरों वाली ब्रह्म ग्रंथि का प्रयोग करना चाहिए न की साधारण गांठ का I रुद्राक्ष की माला को बनाते समय मुख से मुख और पुच्छ से पुच्छ मिलाने चाहियें तभी सिद्धि होती है I वशीकरण के कार्यों में लाल, शांति कार्यों में सफ़ेद, धन प्राप्ति के लिए पीले रेशमी सूत का प्रयोग करना चाहिए I अच्छी सिद्धि के लिए कुंवारी ब्राह्मण कन्या के हाथ से कता हुआ सूत प्रयोग करना चाहिए I भली प्रकार से बनी हुई माला को संस्कारित करना चाहिए तभी मन्त्र चैतन्य होकर मनोकामना को पूर्ण करते हैं I जाप करते हुए न तो माला को हिलाएं न स्वयं हिलें I मन्त्र जाप करते हुए आवाज न आएँ I माला फेरते समय इसे गौमुखी या वस्त्र के अन्दर रखें ताकि माला किसी को दिखे नहीं I माला को हमेशा शुद्ध जगह रखें और माला एवं आसन किसी से शेयर न करें I जाप करते वक्त इसे तर्जनी उंगली का (अंगूठे के साथ वाली) स्पर्श न होने देन I
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